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NEET Ka Exam Kon De Sakta Hai | नीट का एग्जाम कौन दे सकता है

वह हर छात्र जो डॉक्टर बनने का सपना देख रहा है तो उसे भारत देश में नीट की परीक्षा में बैठना होता है ताकि बारहवीं कक्षा की पढ़ाई मेडिकल स्ट्रीम से करने के बाद वह देश के सरकारी या प्राइवेट मेडिकल कॉलेज में चयनित हो सके। ऐसे में एक प्रश्न जो सभी के दिमाग में उठता है वह यह है कि नीट का एग्जाम कौन दे सकता है (NEET Ka Exam Kon De Sakta Hai) या फिर नीट की परीक्षा में बैठने के लिए पात्रता मानदंड क्या है।

ऐसे में यदि आप भी नीट की परीक्षा में बैठना चाहते हैं और नीट पात्र मानदंड 2024 के बारे में जानने को इच्छुक हैं तो आज हम इसी विषय पर ही चर्चा करने वाले (NEET Eligibility Criteria 2024 In Hindi) हैं। दरअसल भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय व मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया ने नीट परीक्षा 2024 में बैठने के लिए कुछ नियम निर्धारित किये हुए हैं, जिन्हें हम नीट परीक्षा पात्रता मानदंड कह सकते हैं। यह मानदंड शिक्षा, आयु, नागरिकता, कोटा सीट और कोड को लेकर बनाये गए हैं।

इसलिए आपको यदि नीट की परीक्षा में बैठना है और देश के किसी गणमान्य सरकारी या प्राइवेट मेडिकल कॉलेज में प्रवेश लेना है तो उसके लिए आपको नीट एग्जाम पात्रता मानदंड के बारे में पूरी जानकारी होनी जरुरी है। इन्हें हम नीट एग्जाम एलिजिबिलिटी क्राइटेरिया 2024 भी कह सकते (NEET Exam Eligibility In Hindi) हैं। तो आइये जाने नीट के एग्जाम में कौन कौन बैठ सकता है।

नीट का एग्जाम कौन दे सकता है?

नीट एग्जाम NTA अर्थात नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (National Testing Agency) ले सकती है जिसे हम हिंदी में राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी भी कह सकते हैं। इस एजेंसी को भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय व मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया मैनेज करते हैं और सभी तरह के नियम व दिशा निर्देश बनाते हैं। ऐसे में हर वर्ष जो नीट एग्जाम कंडक्ट करवाया जाता है वह इसी NTA के द्वारा ही आयोजित करवाया जाता (NEET Ka Exam Kon De Sakta Hai) है।

जो भी छात्र नीट एग्जाम में बैठता है, उसके लिए कुछ दिशा निर्देश व पात्रता मानदंड बनाये गए हैं, जिनका पालन किया जाना हर उस छात्र के लिए जरुरी है, जो देश के मेडिकल कॉलेज में प्रवेश लेने का इच्छुक है। यह पात्रता मानदंड छात्रों की आयु, शिक्षा के स्तर, उनकी नागरिकता, राज्य के अनुसार कोटा सीट और नीट फॉर्म भरे जाने में कोड को लेकर बनाये गए (NEET Eligibility Criteria 2024 In Hindi) हैं।

यदि आपको भी नीट की परीक्षा देनी है तो आपके लिए भी निश्चित तौर पर इन पाँचों नीट एग्जाम पात्रता मानदंड 2024 का पालन किया जाना जरुरी (NEET Exam Eligibility In Hindi) है। ऐसे में नीट का एग्जाम कौन दे सकता है और यह नीट एलिजिबिलिटी क्राइटेरिया कौन कौन से हैं, उनके बारे में जान लेते हैं।

#1. नीट एग्जाम पात्रता मानदंड – आयु सीमा

जो छात्र नीट एग्जाम में बैठना चाहते हैं उनके लिए न्यूनतम व अधिकतम आयु को लेकर कुछ नियम बनाये गए हैं। ऐसे में हर वह छात्र जो नीट एलिजिबिलिटी क्राइटेरिया 2024 के अनुसार आयु सीमा को जानना चाहता है तो उसे न्यूनतम आयु सीमा और अधिकतम आयु सीमा के बारे में पता होना जरुरी (NEET Exam Age Limit in Hindi) है, आइये जाने इसके बारे में।

  • नीट एग्जाम देने के लिए न्यूनतम आयु सीमा क्या है?

अब यदि आप नीट का एग्जाम देने को इच्छुक हैं तो उसके लिए जो भी छात्र नीट परीक्षा में बैठ रहा है, उसकी आयु उस वर्ष के अंत तक अर्थात 31 दिसंबर तक 17 वर्ष की हो जानी चाहिए। कहने का अर्थ यह हुआ कि यदि आप वर्ष 2024 की नीट परीक्षा में बैठने जा रहे हैं तो 31 दिसंबर 2024 तक आपकी आयु 17 वर्ष की हो जानी (NEET exam minimum age limit) चाहिए क्योंकि यही नीट की न्यूनतम आयु सीमा है। यदि आप 31 दिसंबर के एक दिन बाद भी 17 वर्ष के हो रहे हैं तो फिर आप उस वर्ष की नीट परीक्षा में नहीं बैठ सकते हैं।

  • नीट एग्जाम देने के लिए अधिकतम आयु सीमा क्या है?

भारत सरकार ने नीट की अधिकतम आयु सीमा के लिए नियम बनाने चाहे थे किन्तु वर्तमान में इस पर सर्वोच्च न्यायालय की रोक लगी हुई है। ऐसे में जब तक इस मामले का निपटारा नहीं हो जाता है तब तक भारत का कोई भी छात्र जो अन्य पात्रता मानदंड को पूरा करता (NEET exam maximum age limit) है, वह किसी भी आयु सीमा तक नीट की परीक्षा को दे सकता है। कहने का अर्थ यह हुआ कि वर्तमान समय में नीट एग्जाम में बैठने के लिए अधिकतम आयु सीमा का कोई फॉर्मूला नहीं है।

#2. नीट एग्जाम एलिजिबिलिटी क्राइटेरिया – शिक्षा

अब जब आपने नीट एग्जाम में बैठने के आयु सीमा वाले पात्रता मानदंड के बारे में जानकारी ले ली है तो अब बारी आती है नीट एग्जाम में शैक्षणिक क्राइटेरिया जानने की जो बहुत ही ज्यादा जरुरी हो जाता है। तो इसके लिए सबसे पहले तो आप यह जान लें कि नीट की परीक्षा वही छात्र दे सकता है जिसने किसी मान्यता प्राप्त बोर्ड से अपनी बारहवीं कक्षा की पढ़ाई पूरी कर ली (NEET exam education qualification) है और वह भी मेडिकल में या फिर फिजिक्स, केमिस्ट्री व बायोलॉजी सब्जेक्ट के साथ।

यहाँ हम यह कहना चाह रहे हैं कि नीट एग्जाम में बैठने के लिए आपका कम से कम बारहवीं पास होना जरुरी है और वो भी फिजिक्स, केमिस्ट्री व बायोलॉजी विषयों के साथ। इतना ही नहीं, इसके लिए छात्रों की जाति के आधार पर भी बारहवीं में कम से कम कितने प्रतिशत मार्क्स होने चाहिए, वह भी बताया गया  (NEET Eligibility Criteria In Hindi) है। आइये उसके बारे में भी जान लेते हैं।

  • जनरल वर्ग के छात्र

जो छात्र सामान्य श्रेणी में या जनरल केटेगरी में आते हैं, उन्हें अपनी बारहवीं की परीक्षा में न्यूनतम 50 प्रतिशत अंक लाने जरुरी हैं, तभी वे नीट एग्जाम में बैठने के लिए पात्र माने जाते हैं। यदि उनके 50 प्रतिशत से कम अंक हैं तो वे नीट परीक्षा में नहीं बैठ सकते हैं या फिर उन्हें फिर से बारहवीं की परीक्षा देनी होती है।

  • आरक्षित वर्ग के छात्र (OBC, SC व ST)

अब जो भी छात्र आरक्षित या रिजर्व्ड केटेगरी से आते हैं जैसे कि अन्य पिछड़ा वर्ग, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, उन्हें अपनी बारहवीं की परीक्षा में कम से कम 40 प्रतिशत अंक लेने जरुरी हैं। ऐसे में आरक्षित वर्ग के छात्र के यदि 40 प्रतिशत या उससे अधिक अंक हैं तो वे नीट परीक्षा 2024 में बैठ सकते हैं।

  • विकलांग या PWD वर्ग के छात्र

जो छात्र विकलांग हैं, उन्हें नीट परीक्षा में बैठने के लिए न्यूनतम अंक में कुछ छूट दी गयी है जो कि 45 प्रतिशत है। तो यह नियम सामान्य वर्ग के विकलांग छात्रों के लिए है क्योंकि उनके न्यूनतम अंक की सीमा 50 प्रतिशत अंक की बजाये 45 प्रतिशत अंक हो जाती है। वहीं जो आरक्षित वर्ग के विकलांग छात्र हैं, उनके लिए तो पहले से यह ही न्यूनतम अंक की पात्रता 40 प्रतिशत है।

#3. नीट परीक्षा पात्रता मानदंड नागरिकता

अब हम बात करेंगे नीट एग्जाम में बैठने के लिए छात्रों के लिए नागरिकता का पैमाना क्या है। तो वे सभी छात्र जो भारत देश के नागरिक हैं और भारत देश में ही रह रहे हैं, वे नीट एग्जाम 2024 में बैठने के लिए पात्र माने जाएंगे। हालाँकि ऐसा नहीं है कि केवल भारत देश में रह रहे व भारत की नागरिकता लिए हुए छात्र ही नीट परीक्षा में बैठ सकते हैं क्योंकि इसके अलावा भी अन्य छात्र कुछ अन्य शर्तों के साथ नीट परीक्षा में बैठने के लिए एलिजिबल होते हैं, आइये जाने।

  • भारत देश में रह रहे और भारत की नागरिकता लिए हुए सभी छात्र नीट एग्जाम दे सकते हैं।
  • भारत के विदेशी नागरिक अर्थात Overseas citizen of India या OCI कार्ड लिए हुए छात्र भी नीट की परीक्षा दे सकते हैं।
  • अब जो छात्र जन्म से तो भारतीय हैं लेकिन अब विदेश की नागरिकता ले चुके हैं अर्थात Non-resident Indians या NRI है, वे भी नीट एग्जाम दे सकते हैं।
  • अब जो छात्र भारत में जन्मे हैं लेकिन विदेशी हैं अर्थात Persons with Indian origin या PIO कार्ड लिए हुए हैं, वे भी नीट एग्जाम दे सकते हैं।
  • बाकि बच गए वे छात्र जो विदेश में जन्मे हैं और वहीं के नागरिक हैं तो वे नीट एग्जाम नहीं दे सकते हैं लेकिन यदि वे कुछ विशेष नियम व शर्तों का पालन करते हैं और अपने देश व भारत से अनुमति ले लेते हैं तो उन्हें नीट परीक्षा में बैठने दिया जा सकता है।

इस तरह से भारत के सभी छात्र फिर चाहे वे देश में रह रहे हो या विदेश में, उनके पास चाहे नागरिकता देश की हो या विदेश की, वे बिना किसी रोकटोक के नीट एग्जाम 2024 दे सकते हैं और यहाँ के सरकारी व प्राइवेट मेडिकल कॉलेज में प्रवेश पा सकते (NEET Ka Exam Kon De Sakta Hai) हैं।

#4. नीट परीक्षा एलिजिबिलिटी क्राइटेरिया कोटा सीट

नीट एग्जाम में बैठने या उसमे सेलेक्ट होने के लिए हर राज्य के अनुसार मेडिकल कॉलेज में सीट को रिजर्व या आरक्षित रखा जाता है। पहले के समय में जब नीट की परीक्षा नहीं होती थी तब सभी राज्यों का अलग-अलग AIPMT का एग्जाम होता था। इसी के साथ ही कुछ बड़े सरकारी व प्राइवेट मेडिकल कॉलेज का अलग से भी एग्जाम होता था किन्तु जब से नीट आयी (NEET exam reservation quota) है, तब से ही देश के सभी मेडिकल कॉलेज के लिए एक ही एग्जाम कर दिया गया है।

फिर भी आप जिस राज्य के हैं, वहां के मेडिकल कॉलेज में प्रवेश पाने के लिए आपका कोटा निर्धारित किया गया होता है। हर राज्य के अनुसार वहां के सरकारी या प्राइवेट मेडिकल कॉलेज में प्रवेश पाने के लिए उस राज्य के छात्रों का कोटा 85 प्रतिशत होता (NEET reservation criteria 2024) है। इस तरह से राजस्थान के मेडिकल कॉलेज में 85 प्रतिशत सीट राजस्थान के ही छात्रों के लिए ही आरक्षित रखी गयी है। यदि आपको देशभर के मेडिकल कॉलेज में से किसी एक को चुनना है तो आपको बाकि बची 15 प्रतिशत कोटा सीट में अपना दावा ठोकना होगा।

#5. नीट एग्जाम देने के लिए कोड

अब बात करते हैं नीट एग्जाम के लिए भरे जाने वाले फॉर्म में कोड को भरे जाने की। तो जब आप नीट एग्जाम का फॉर्म भर रहे होते हैं तो उसके लिए आपके सामने 7 तरह के कोड होते (NEET exam code) हैं। इन कोड को 1 से 7 तक चिन्हित किया गया होता है जिसमें से किसी एक कोड का चयन आपको करना होता है। अब आपको किस कोड का चयन करना है और उस कोड का क्या मतलब होता है, आइये इसके बारे में भी जान लेते हैं।

  • कोड 01

जो छात्र अपनी बारहवीं बोर्ड की परीक्षा में शामिल होंगे या जो अपनी बारहवीं परीक्षा का परिणाम आने का इंतज़ार कर रहे हैं, उन छात्रों को कोड 01 का चयन करना (NEET exam code 01) होगा। उदाहरण के तौर पर यदि आप नीट एग्जाम 2024 में बैठने वाले हैं और आपका बारहवीं का एग्जाम 2024 में ही है या उसका परिणाम आने वाला है तो आपको इस कोड का चयन करना होगा। हालाँकि नीट कॉलेज में एडमिशन से पहले तक आपकी बारहवीं परीक्षा का परिणाम आ जाना चाहिए और उसके अंक निर्धारित मानदंडों का पालन करते हुए होने चाहिए अन्यथा आप अपात्र मान लिए जाएंगे।

  • कोड 02

नीट एग्जाम के इस कोड में दो तरह के छात्र आते हैं जो इसका चयन कर सकते (NEET exam code 02) हैं। पहले नियम के अनुसार वे छात्र इस कोड का चयन करेंगे जिन्होंने अपनी 11वीं और 12वीं की पढ़ाई सीबीएसई से ना करके ISCE से की है। उन्हें नीट परीक्षा में बैठने के लिए अपनी 11वीं और 12वीं की पढ़ाई में सब्जेक्ट के तौर पर फिजिक्स, केमिस्ट्री, बायोलॉजी, गणित या अंग्रेजी के साथ साथ किसी अन्य वैकल्पिक विषय में पढ़ना जरुरी होता (NEET Ka Exam Kon De Sakta Hai) है।

दूसरे नियम के अनुसार, छात्रों का वह वर्ग जो भारत के किसी भी मान्यता प्राप्त बोर्ड से पढ़ा हो लेकिन उसने ड्रॉप किया हो अर्थात उसकी बारहवीं उस वर्ष से एक वर्ष पहले तक समाप्त हो गयी है तो उसे भी कोड 02 का चयन करना होगा। उदाहरण के तौर पर आप नीट एग्जाम 2024 में बैठने जा रहे हैं और आपने अपनी बारहवीं की पढ़ाई वर्ष 2022 में ही पूरी कर ली थी।

  • कोड 03

नीट एग्जाम में कोड 03 का चयन वह छात्र कर सकता (NEET exam code 03) है जिसने इंटरमीडिएट या प्री डिग्री कोर्स को किसी मान्यता प्राप्त बोर्ड से प्राप्त किया हुआ हो। उसे भी अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई में फिजिक्स, केमिस्ट्री व बायोलॉजी के साथ साथ अंग्रेजी की पढ़ाई करनी जरुरी होती है। इसमें सभी राज्य बोर्ड के छात्र आ जाते हैं जैसे कि राजस्थान बोर्ड या गुजरात बोर्ड इत्यादि।

  • कोड 04

नीट एग्जाम में कोड 04 को वही छात्र भर सकते (NEET exam code 04) हैं जिन्होंने अपनी उच्च माध्यमिक शिक्षा या प्री यूनिवर्सिटी या इससे संबंधित कोर्स को पूरा कर लिया है और उसके बाद प्री प्रोफेशनल या प्री मेडिकल कोर्स को किसी मेडिकल या साइंस कॉलेज से कर रहे हैं।

  • कोड 05

ऐसा छात्र जो अपनी बारहवीं कक्षा की पढ़ाई को फिजिक्स, केमिस्ट्री, बायोलॉजी व इंग्लिश में पूरा कर चुका (NEET exam code 05) है और अब किसी यूनिवर्सिटी या कॉलेज से 3 वर्ष की पढ़ाई फिजिक्स, केमिस्ट्री व बायोलॉजी में ही कर रहा है और उसके प्रथम वर्ष में है।

  • कोड 06

ऐसा छात्र जिसने अपनी बारहवीं की पढ़ाई किसी मान्यता प्राप्त स्कूल से पीसीबी व इंग्लिश में पास कर ली (NEET exam code 06) हो और अब बीएससी की पढ़ाई कर रहा हो। उसका बीएससी के एग्जाम में फिजिक्स, केमिस्ट्री या बायोलॉजी में से किसी दो सब्जेक्ट में पास होना भी जरुरी होता है।

  • कोड 07

वह छात्र जो विदेश या अंतर्राष्ट्रीय स्तर के बोर्ड में पढ़ रहा (NEET exam code 07) हो और उसने 11वीं और 12वीं की पढ़ाई पीसीबी व इंग्लिश में की हो और अन्य पात्रता मानदंडों को पूरा करता हो।

नीट एग्जाम में कितनी बार बैठ सकते हैं?

नीट एग्जाम एलिजिबिलिटी क्राइटेरिया 2024 को पूरी तरह जानने के बाद एक छोटी सी शंका जो अभी भी आपके दिमाग में रह गयी होगी, वह यह होगी कि आप नीट के एग्जाम में कितनी बार बैठ सकते हैं। अब ऊपर हमने आपको नीट एग्जाम में बैठने के लिए न्यूनतम आयु सीमा का 17 वर्ष होना तो बता दिया (NEET me kitni bar exam de sakte hai) है लेकिन अधिकतम आयु सीमा पर सर्वोच्च न्यायालय की रोक के कारण इसका कोई क्राइटेरिया नहीं है।

ऐसे में सभी के मन में यह सवाल उठना लाजमी है कि नीट की परीक्षा कितनी बार दे सकते हैं या उसे देने के लिए कितने अटेम्प्ट मिलते हैं। ऐसे में यहाँ हम आपको यह पहले ही स्पष्ट कर दें कि आप जितनी बार चाहे उतनी बार नीट की परीक्षा दे सकते हैं फिर चाहे वह 2 बार हो या 20 बार। अभी के लिए इस पर किसी तरह की रोक नही है लेकिन भविष्य में इस पर रोक लगायी जा सकती है।

हालाँकि यह भी जान लें कि एक समय के बाद छात्र का हौसला टूटने लगता है क्योंकि नीट की परीक्षा हर वर्ष लाखों छात्रों के द्वारा दी जाती है और उसमें से कुछ लिमिटेड छात्र ही चयनित हो पाते हैं। ऐसे में आपका किसी अच्छे इंस्टीट्यूट से पढ़ना जरुरी हो जाता है क्योंकि वहीं से ही आपको सही मार्गदर्शन और बेस्ट टीचर मिलते हैं। नीट की कोचिंग देने में सीकर और कोटा शहर बहुत प्रसिद्ध है। जहाँ सीकर का मैट्रिक्स इंस्टीट्यूट टॉप पर बना हुआ है तो वहीं कोटा का एलन अच्छा काम कर रहा (NEET Ka Exam Kon De Sakta Hai) है। अब यह आप पर निर्भर करता है कि आप नीट एग्जाम देने के लिए कितने सीरियस हैं।

नीट का एग्जाम कौन दे सकता है – Related FAQs 

प्रश्न: नीट के लिए क्या योग्यता होनी चाहिए?

उत्तर: नीट के लिए योग्यता हमने ऊपर के लेख में विस्तार से दी है जो आपको पढ़नी चाहिए।

प्रश्न: नीट का फॉर्म कौन भर सकता है?

उत्तर: नीट का एग्जाम वह भर सकता है जिसने अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा को पीसीबी सब्जेक्ट से पास किया है बाकि की जानकारी आप ऊपर का लेख पढ़ कर प्राप्त कर सकते हो।

प्रश्न: क्या मैं 10वीं के बाद नीट दे सकता हूं?

उत्तर: नहीं, आपको अपनी 12वीं कक्षा को पास करना होगा।

प्रश्न: नीट में उम्र कितनी होनी चाहिए?

उत्तर: नीट का एग्जाम देना है तो उस साल आपकी उम्र 31 दिसंबर तक 17 वर्ष होनी चाहिए।

प्रश्न: नीट में कितने सब्जेक्ट होते है?

उत्तर: नीट में 3 विषय होते हैं फिजिक्स, केमिस्ट्री और बायोलॉजी।

इन्हें भी पढ़ें:

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NEET Exam Pattern In Hindi | नीट परीक्षा पैटर्न 2024 | SCAS

देशभर के मेडिकल कॉलेज में छात्रों का प्रवेश करवाने के लिए नीट का एग्जाम आयोजित करवाया जाता (NEET Exam Pattern In Hindi) है। इससे पहले AIPMT व अन्य कई तरह के एग्जाम लिए जाते थे पिछले कुछ वर्षों से सभी तरह के एग्जाम को एक साथ करके नीट की परीक्षा ली जाती है। ऐसे में बहुत से छात्रों को नीट के बारे में इतनी जानकारी नहीं होती है और खासतौर पर नीट परीक्षा पैटर्न के बारे में बहुत छात्र आशंकित रहते हैं।

हम आपको पहले ही बता दें कि नीट एग्जाम का पैटर्न समय-समय पर बदला जा सकता (NEET Exam Details In Hindi) है और वो इसको आयोजित करवाने वाली एजेंसी पर निर्भर करता है। पिछली बार नीट परीक्षा पैटर्न को वर्ष 2021 में बदला गया था और उसके बाद से इसे ही माना गया है। ऐसे में आज के इस लेख के माध्यम से हम आपके साथ नीट परीक्षा पैटर्न 2024 के बारे में ही चर्चा करने वाले हैं।

आज के इस लेख को पढ़ कर ना केवल आपको नीट एग्जाम पैटर्न 2024 के बारे में लेटेस्ट अपडेट (Merits Of NEET Exam) मिलेगी बल्कि इसमें आपसे क्या कुछ पूछा जाता है, किस विषय पर कितने प्रश्न पूछे जाते हैं, उसके कितने अंक आपको मिलते हैं, इत्यादि हरेक चीज़ के बारे में जानकारी मिलेगी। तो आइये जाने नीट परीक्षा पैटर्न हिंदी में।

नीट परीक्षा पैटर्न 2024

नीट की परीक्षा को पहली बार वर्ष 2013 में आयोजित किया गया था। उसके अगले दो साल अर्थात वर्ष 2014 व 2015 में इसे सर्वोच्च न्यायालय के आदेश पर स्थगित कर दिया गया (NEET Exam Details In Hindi) था लेकिन फिर वर्ष 2016 से इसे लगातार आयोजित किया जा रहा है। अभी यदि आपको भारत के किसी भी सरकारी से लेकर निजी मेडिकल कॉलेज में प्रवेश पाना है तो उसके लिए नीट की परीक्षा को उत्तीर्ण किया जाना बहुत ही जरुरी हो जाता है।

यदि आपने नीट परीक्षा को क्लियर नहीं किया हुआ (Who Conduct NEET Exam 2024) है तो आपको सरकारी मेडिकल कॉलेज में तो प्रवेश मिलेगा ही नहीं और यहाँ तक कि उच्च व प्रसिद्ध निजी मेडिकल कॉलेज में भी सामान्य प्रवेश नहीं मिलेगा। ऐसे में नीट की परीक्षा को पास करना बहुत ही जरुरी हो जाता है। तो यदि नीट की परीक्षा को पास करना है तो उसके पैटर्न को समझना भी बहुत जरुरी हो जाता है क्योंकि इसके बिना तो आप उसे किसी भी हालत में पास नहीं कर पाएंगे।

ऐसे में यदि आपको नीट एग्जाम पैटर्न (NEET Exam Pattern In Hindi) को समझना है तो उसके लिए आपको नीट की परीक्षा में पूछे जाने वाले विषय, उसका सिलेबस, उसके कुल प्रश्न, उसके अंक व समय के बारे में जानकारी होनी बहुत ही जरुरी हो जाती है। तो हम आपको नीट परीक्षा पैटर्न 2024 के बारे में सिलसिलेवार तरीके से हर चीज़ के ऊपर विस्तृत जानकारी देंगे। आइये समझें नीट एग्जाम पैटर्न 2024 के बारे में विस्तार से।

#1. नीट एग्जाम के विषय

सबसे पहले बात करते हैं नीट की परीक्षा में पूछे जाने वाले विषयों के बारे में। तो यहाँ आप यह जान लें कि नीट की परीक्षा आपके द्वारा बारहवीं कक्षा को मेडिकल स्ट्रीम से पास करने के बाद आयोजित करवायी जाती है। इसके लिए आपके पास अपनी 11वीं व 12वीं क्लास में मेडिकल स्ट्रीम का होना अनिवार्य है और उसी के साथ ही बारहवीं में आपके कम से कम 50 प्रतिशत अंक होने जरुरी (NEET Exam Subjects 2024) हैं। हालाँकि आरक्षित वर्ग के छात्रों को इसमें कुछ छूट दी गयी है जो 40 प्रतिशत से 45 प्रतिशत के बीच की है।

नीट एग्जाम में आपसे आपके 11वीं व 12वीं विषय में पढाये गए तीन विषयों के ऊपर ही प्रश्न पूछे जाते (NEET Exam Details In Hindi) हैं। ऐसे में आपसे जिन तीन तरह के विषयों पर प्रश्न पूछे जाएंगे वह इस प्रकार हैं:

  • फिजिक्स या भौतिक विज्ञान

नीट एग्जाम में सबसे पहले तो आपसे फिजिक्स सब्जेक्ट पर प्रश्न पूछे जाते हैं जिसे हम भौतिक विज्ञान के नाम से भी जानते हैं। इसमें आने वाले प्रश्न वही होंगे जो आपने अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई में पढ़े होंगे। नीट एग्जाम में पूछे गए कुल प्रश्नों में से फिजिक्स के प्रश्नों की संख्या 25 प्रतिशत की होती है।

  • केमिस्ट्री या रसायन शास्त्र

नीट एग्जाम का दूसरा सब्जेक्ट केमिस्ट्री होता है जिसे हम रसायन विज्ञान भी कहते हैं। इसमें केमिस्ट्री के तरह-तरह के फॉर्मूला, मेथड इत्यादि विषय पर प्रश्न पूछे जाते हैं। फिजिक्स की तरह ही केमिस्ट्री के प्रश्नों की संख्या भी नीट परीक्षा में 25 प्रतिशत की होती है।

  • बायोलॉजी या जीव विज्ञान

नीट एग्जाम का जो तीसरा और सबसे महत्वपूर्ण विषय होता है वह होता है बायोलॉजी क्योंकि यही आपका नीट एग्जाम पास करवा सकता है। जितने प्रश्न फिजिक्स व केमिस्ट्री को मिलाकर पूछे जाते हैं, उतने अकेले बायोलॉजी से पूछे जाते हैं। वह इसलिए क्योंकि नीट परीक्षा में बायोलॉजी को दो भागों में तोड़कर प्रश्न पूछे जाते हैं, जो इस प्रकार है:

– जूलॉजी या प्राणी विज्ञान

इसे हम हिंदी में जंतु विज्ञान के नाम से भी जानते हैं जिसमें अलग-अलग तरह के जीव-जंतुओं और मनुष्यों के शरीर की प्रणाली पर प्रश्न पूछे जाते हैं। तो नीट एग्जाम का पैटर्न 25 प्रतिशत इसी पर ही निर्भर करता है अर्थात उसके 25 प्रतिशत प्रश्न इसी विषय पर ही पूछे जाएंगे।

– बॉटनी या वनस्पति विज्ञान

नीट एग्जाम के पैटर्न में जो अंतिम विषय होता है वह होता है बॉटनी जिसे हम वनस्पति विज्ञान भी कहते हैं। इसमें पूछे गए प्रश्नों की संख्या भी 25 प्रतिशत होती है जिसमें आपसे पेड़-पौधों के विज्ञान से संबंधित प्रश्न पूछे जाते हैं।

#2. नीट एग्जाम का सिलेबस

अब बात करते हैं नीट एग्जाम के सिलेबस की। तो जैसा कि हमने आपको ऊपर ही बताया कि आपकी 11वीं और 12वीं कक्षा में फिजिक्स, केमिस्ट्री और बायोलॉजी विषय में जो भी सिलेबस आता (NEET Exam Syllabus 2024 In Hindi) है, वही आपसे नीट की परीक्षा में पूछे जाते हैं। इनके अलावा नीट में कोई भी प्रश्न इनके बाहर से नहीं पूछा जाता है। ऐसे में फिजिक्स केमिस्ट्री व बायोलॉजी के 11वीं और 12वीं कक्षा के विषय ही नीट एग्जाम का सिलेबस होता है।

ऐसे में आपसे जिन-जिन विषयों पर प्रश्न पूछे जा सकते (NEET Exam Pattern In Hindi) हैं या ऊपर बताये गए सब्जेक्ट में से जिन जिन विषय पर प्रश्न आ सकते हैं, उनकी सूची कुछ इस प्रकार है:

नीट एग्जाम में फिजिक्स का सिलेबस

नीट की परीक्षा में फिजिक्स विषय से जिन जिन अध्यायों या पाठ पर प्रश्न पूछे जा सकते (NEET Exam Physics Syllabus) हैं वे हैं:

  • Thermodynamics
  • गति के नियम या लॉ ऑफ मोशन
  • – Kinematics
  • करंट इलेक्ट्रिसिटी
  • एटम
  • इलेक्ट्रोमैग्नेटिक वेव्स
  • ऑप्टिक्स
  • Gravitation
  • कार्य, ऊर्जा व शक्ति इत्यादि।

इनके अलावा जो भी अध्याय आपको फिजिक्स विषय में पढ़ाये जाएंगे, वे सभी ही नीट एग्जाम में आ सकते हैं। इसलिए आप अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई को बहुत ही ध्यान के साथ करें और फिजिक्स के हर चैप्टर को अच्छे से समझें।

नीट एग्जाम में केमिस्ट्री का सिलेबस

अब नीट के एग्जाम में केमिस्ट्री से भी वही अध्याय आते हैं जो आपने अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई में पढ़े (NEET Exam Chemistry Syllabus) होंगे। इनमें से कुछ प्रमुख विषय हैं:

  • हाइड्रोजन
  • हाइड्रोकार्बन
  • सॉलिड स्टेट
  • सलूशन या विलयन
  • Biomolecules
  • Equilibrium
  • P Block एलिमेंट्स
  • विद्युत रसायन
  • Polymers या बहुलक
  • एनवायर्नमेंटल केमिस्ट्री
  • सरफेस केमिस्ट्री इत्यादि।

फिजिक्स की तरह ही केमिस्ट्री के सभी तरह के अध्याय से प्रश्न नीट परीक्षा में पूछे जा सकते हैं जो आपने अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई में पढ़े होंगे।

नीट एग्जाम में बायोलॉजी का सिलेबस

अब करते हैं बात नीट एग्जाम के सबसे महत्वपूर्ण विषय के बारे में जो है बायोलॉजी जिसे हम जूलॉजी और बॉटनी दो भागो में तोड़कर देखते हैं। आपने भी अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई को इन दो अलग-अलग किताबों से पढ़ा (NEET Exam Biology Syllabus) होगा। ऐसे में इनमें कुछ इस तरह के विषय या अध्याय नीट एग्जाम के सिलेबस में आते हैं।

  • रिप्रोडक्शन या प्रजनन
  • आनुवांशिकी व विकास
  • मानव शरीर विज्ञान
  • कोशिका की सरंचना व कार्य
  • बायोलॉजी व ह्यूमन वेलफेयर
  • इकोलॉजी व एनवायरनमेंट
  • प्लांट फिजियोलॉजी
  • जैव प्रोद्योगिकी इत्यादि।

इसमें आपको जूलॉजी और बॉटनी में पढ़ाये जाने वाले हर तरह के अध्याय को बहुत ही बारीकी से पढ़ना होगा क्योंकि अकेले बायोलॉजी से ही आपकी नीट परीक्षा के 50 प्रतिशत प्रश्न और इतने ही अंक होंगे। ऐसे में 11वीं से ही बायोलॉजी को मन लगाकर पढ़ना शुरू कर देंगे तो बेहतर रहेगा।

#3. नीट एग्जाम के प्रश्न

अभी तक आपने नीट एग्जाम में किस किस विषय से प्रश्न पूछे जा सकते हैं और नीट का सिलेबस क्या कुछ होता है, इसके बारे में तो जान लिया है लेकिन उसमें किस विषय से कितने प्रश्न और किस पैटर्न में पूछे जाते हैं, इसके बारे में जाना जाना अभी बाकि है। ऐसे में नीट परीक्षा पैटर्न के अनुसार आपसे कुल 200 प्रश्न पूछे जाते हैं लेकिन उसमें से आपको केवल 180 प्रश्नों के उत्तर ही देने होते (NEET Exam Questions Pattern) हैं। अब यह 180 प्रश्न उन 200 में से नहीं चुनने होते हैं जबकि इनका चुनाव आपको उनके खंड के आधार पर करना होता है।

इन 200 में से हरेक विषय पर आपसे 50 प्रश्न पूछे जाते हैं। नीट में कुल 4 विषय होते हैं तो हरेक विषय के 50 प्रश्न को मिला लिया जाए तो कुल 200 प्रश्न हो जाते हैं। अब आपको उन 50 में से केवल 45 प्रश्नों के ही उत्तर देने होते हैं लेकिन इन्हें आप 50 में से किन्हीं 45 प्रश्नों को नहीं चुन सकते हैं। इसके लिए नीट परीक्षा पैटर्न बनाया गया है जिसमें प्रत्येक विषय के अनुसार दो खंड होते हैं जिन्हें खंड अ व खंड ब में बांटा गया होता है।

प्रत्येक विषय के खंड अ में कुल 35 प्रश्न होते हैं जिनके उत्तर देने जरुरी होते हैं अर्थात आपको इन 35 प्रश्नों को हल करना ही होता है और इन्हें आप छोड़ नहीं सकते हैं। वहीं प्रत्येक विषय के खंड ब में कुल 15 प्रश्न होते हैं जिनमें से आप किन्हीं 10 प्रश्नों के उत्तर देने के लिए स्वतंत्र होते (NEET Exam Question Paper Pattern) हैं जबकि अन्य 5 प्रश्नों को आप छोड़ सकते हैं। इसे आप कुछ इस तरह से समझ सकते हैं।

विषय

खंड अ

खंड ब

फिजिक्स 35 प्रश्न (सभी जरुरी) 15 प्रश्न (कुल 10 जरूरी)
केमिस्ट्री 35 प्रश्न (सभी जरुरी) 15 प्रश्न (कुल 10 जरूरी)
जूलॉजी 35 प्रश्न (सभी जरुरी) 15 प्रश्न (कुल 10 जरूरी)
बॉटनी 35 प्रश्न (सभी जरुरी) 15 प्रश्न (कुल 10 जरूरी)
कुल 140 प्रश्न (सभी जरुरी) 60 प्रश्न (40 जरुरी)

तो इस तरह से आपको इन 200 प्रश्नों में से कुल 180 प्रश्नों के ही उत्तर देने होते हैं लेकिन आपको यह प्रत्येक विषय के खंड ब में से चुनने होते हैं। खंड अ के सभी प्रश्न आपको हल करने होते हैं। हालाँकि यदि आपको कोई प्रश्न समझ नहीं आता है तो आप उसको छोड़ सकते हैं।

#4. नीट एग्जाम के नंबर

अब करते हैं नीट परीक्षा में मिलने वाले नंबर की बात। आखिरकार इन्हीं नंबर की बदौलत ही तो आप नीट एग्जाम को पास कर पाते हैं या उसमें चूक जाते हैं। तो नीट की परीक्षा में सभी विषयों से पूछे जाने वाले सभी प्रश्नों के उत्तरों के अंक एक समान ही रहते (NEET Exam Total Marks Subject Wise) हैं जो कि 4 है। ऐसे में यदि आप नीट एग्जाम में किसी प्रश्न का उत्तर देते हैं और यदि वह सही है तो उसके लिए आपको कुल 4 अंक मिलेंगे।

इसी तरह यदि आप किसी प्रश्न का उत्तर देते हैं और यदि वह गलत उत्तर है तो उसके लिए आपका 1 अंक काट लिया जाएगा। वहीं यदि आप किसी प्रश्न का उत्तर नहीं देते है तो उसके लिए आपको कोई अंक नहीं दिया जाएगा। आइये हर विषय के अनुसार नीट एग्जाम में कितने नंबर दिए जाते (NEET Exam Total Marks 2024) हैं, उसको समझ लेते हैं।

विषय

सही उत्तर के अंक गलत उत्तर के अंक कुल अंक अधिकतम अंक

न्यूनतम अंक

फिजिक्स +4 -1 180 +180 -45
केमिस्ट्री +4 -1 180 +180 -45
जूलॉजी +4 -1 180 +180 -45
बॉटनी +4 -1 180 +180 -45
कुल 720 +720 -180

इस तरह से यदि आप नीट की परीक्षा में बैठते हैं और आप सभी प्रश्नों के उत्तर देते हैं तो उसके लिए आपको अधिकतम अंक 720 मिल सकते हैं तो वहीं न्यूनतम अंक -180 आ सकते हैं।

#5. नीट एग्जाम का समय

अब यदि हम नीट एग्जाम पैटर्न के अनुसार उसको करने के लिए कुल समय की बात करें तो इसके लिए आपको 3 घंटे 20 मिनट का समय दिया जाता (NEET Exam Time Duration) है। एक तरह से आपको कुल 200 मिनट का समय नीट की परीक्षा को देने के लिए दिया जाता है। आप इन 200 मिनट में इन 180 प्रश्नों का उत्तर देने के लिए बाध्य होते हैं।

हालाँकि आपको परीक्षा शुरू होने से तुरंत पहले ही नीट परीक्षा केंद्र पर नहीं पहुंचना होता है बल्कि उससे कम से कम एक घंटा पहले वहां पहुंचना होता है। वह इसलिए क्योंकि आपको सीधे एग्जाम हॉल में नहीं ले जाया जाता है बल्कि उससे पहले आपकी आईडी चेक की जाती (NEET Exam Timing 2024) है, आपकी एंट्री करवायी जाती है और अन्य डिटेल भरी जाती है। उसके बाद ही तय समय पर नीट परीक्षा शुरू करवायी जाती (NEET Exam Pattern In Hindi) है जिसे करने के लिए 3 घंटे 20 मिनट का समय होता है।

नीट एग्जाम कौन करवाता है?

अब आपको यह भी जान लेना (Who Conduct NEET Exam 2024) चाहिए कि आखिरकार किसके द्वारा नीट एग्जाम लिया जाता है। तो जब वर्ष 2013 में नीट एग्जाम शुरू किया गया था तब मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया के द्वारा नीट एग्जाम लिया गया था। उसके बाद से भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय व मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया के द्वारा एक बोर्ड या एजेंसी गठित की गयी जो नीट एग्जाम करवाती है।

 इस एजेंसी को हम राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी या नेशनल टेस्टिंग एजेंसी / National Testing Agency के नाम से जानते हैं। इसे हम शोर्ट फॉर्म में NTA भी कह सकते (NEET Exam Kon Karwata Hai) हैं जिसके माध्यम से हर वर्ष नीट एग्जाम को लिया जाता है। हालाँकि इस पर नियंत्रण शिक्षा मंत्रालय और मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया का ही होता है जिनके द्वारा NTA में अधिकारियों की नियुक्ति की जाती है। इन्हीं के ऊपर ही देशभर के मेडिकल कॉलेज में छात्रों के चयन का उत्तरदायित्व होता है।

नीट एग्जाम के फायदे

अब आपको नीट एग्जाम देने के क्या कुछ फायदे होते हैं या नीट एग्जाम की मेरिट के बारे में जानकारी ले लेनी चाहिए। वैसे तो नीट एग्जाम के द्वारा ही आप भारत के टॉप लेवल के मेडिकल कॉलेज में प्रवेश पाते (Merits Of NEET Exam) हैं फिर चाहे वह सरकारी मेडिकल कॉलेज हो या फिर प्राइवेट मेडिकल कॉलेज। हालाँकि यह आपके लिए किस तरह से फायदेमंद होता है या नीट एग्जाम देने के क्या कुछ लाभ हैं, आइये उन पर एक नज़र डाल लेते हैं।

  • पहले के समय में मेडिकल कॉलेज में प्रवेश पाना होता था तो उसके लिए हर राज्य के अपने मेडिकल एंट्रेंस टेस्ट होते थे और साथ ही बड़े प्राइवेट मेडिकल कॉलेज के अलग से टेस्ट होते थे। जब से नीट आया है तब से ही हर मेडिकल कॉलेज में प्रवेश इसके माध्यम से होने लगा है।
  • अलग अलग टेस्ट देने पर आपको अलग अलग फीस का भुगतान करना होता था जबकि नीट एक ही बारी में होने वाला एग्जाम है जो देशभर में आयोजित करवाया जाता (NEET Exam Ke Fayde) है। ऐसे में आपको फीस भी एक बारी ही देनी होती है।
  • नीट के माध्यम से आपका चयन देश के किसी भी मेडिकल कॉलेज में हो सकता है और आप अपने को मिले कुल अंकों के आधार पर कोई भी मेडिकल कॉलेज भर सकते हैं या उसके लिए आवेदन भेज सकते हैं।
  • नीट की परीक्षा केवल अंग्रेजी व हिंदी में ही नहीं बल्कि भारत की 9 क्षेत्रीय भाषाओं में आयोजित करवायी जाती है। ऐसे में आप बिना किसी टेंशन के अपनी मातृभाषा में नीट एग्जाम दे सकते हैं।
  • यह हर वर्ष निर्बाध रूप से आयोजित होने वाली परीक्षा है और इसमें किसी तरह की देरी नहीं होती है क्योंकि हर वर्ष देशभर के सभी मेडिकल कॉलेज में प्रथम वर्ष के छात्रों की सीट इसी एग्जाम के माध्यम से ही भरी जाती है।

इस तरह से नीट की परीक्षा देने पर आपको कई तरह के फायदे देखने को मिलते हैं। हालाँकि बहुत से छात्र पहली बार में नीट में पास नहीं हो पाते हैं और यदि पास हो भी जाते हैं तो उन्हें अपनी पसंद का मेडिकल कॉलेज नहीं मिलता है तो वे दूसरे वर्ष नीट एग्जाम में फिर से बैठते (NEET Exam Pattern In Hindi) हैं।

यह बहुत हद्द तक इस पर भी निर्भर करता है कि आप नीट की कोचिंग किस इंस्टिट्यूट से ले रहे हैं। यदि आपको टॉप लेवल का इंस्टिट्यूट मिल जाता है तो फिर आपका पहले या दूसरे वर्ष में ही नीट में चयन हो जाता है। यदि आप सीकर शहर में नीट की कोचिंग लेने का सोच रहे हैं तो उसके लिए मैट्रिक्स इंस्टिट्यूट सबसे बढ़िया है और यदि कोटा पढ़ने जाना है तो उसके लिए एलन इंस्टिट्यूट बेहतर रहेगा।

नीट परीक्षा पैटर्न 2024 – Related FAQs

प्रश्न: नीट 2024 का नया पैटर्न क्या है?

उत्तर: नीट 2024 में 200 प्रश्न पूछे जायेंगे जिसमें से 180 प्रश्नों के उत्तर विद्यार्थी को देने होंगे और हर प्रश्न के सही होने पर 4 नंबर मिलेंगे बाकी की जानकारी आप ऊपर का लेख पढ़ कर प्राप्त कर सकते हो।

प्रश्न: नीट 2024 में कितने चैप्टर होते हैं?

उत्तर: नीट 2024 में फिजिक्स, केमिस्ट्री, बॉटनी और जूलॉजी से प्रश्न आयेंगे जिसके बारे में अधिक जानकारी आप ऊपर का लेख पढ़ कर प्राप्त कर सकते हो।

प्रश्न: नीट 2024 का पेपर कौन बनाएगा?

उत्तर: नीट 2024 का पेपर NTA द्वारा लिया जाएगा।

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NEET Exam Kya Hota Hai | नीट एग्जाम क्या होता है? | SCAS

भारत देश में मेडिकल की पढ़ाई करनी है और उसके लिए अच्छे सरकारी या फिर प्राइवेट मेडिकल कॉलेज में एडमिशन चाहिए तो नीट की परीक्षा (NEET Exam Kya Hota Hai) देनी जरुरी हो जाती है। ऐसे में बहुत से लोगों के मन में यह प्रश्न उठता है कि यह नीट एग्जाम क्या होता है या फिर नीट एग्जाम क्या है। ऐसे में आज हम इस लेख के माध्यम से नीट की परीक्षा के बारे में ही बात करने वाले (NEET exam kya hai) हैं।

आज के इस लेख को पढ़ कर आपको नीट परीक्षा के बारे में सबकुछ पता चल जाएगा जैसे कि नीट एग्जाम किसलिये होता है, नीट एग्जाम कितनी बार दे सकते हैं (NEET exam kitni baar de sakte hai), नीट एग्जाम कैसे होता है, नीट एग्जाम कौन लेता है, उसका सिलेबस क्या है इत्यादि। इसे पढ़कर आपकी नीट के बारे में हरेक शंका का सरल समाधान हो जाएगा। तो आइये जाने नीट परीक्षा के बारे में।

नीट एग्जाम क्या होता है?

भारत देश में असंख्य कॉलेज व यूनिवर्सिटी है जिनमें इंजीनियरिंग से लेकर आर्किटेक्ट, मैनेजमेंट, डिज़ाइनर इत्यादि की पढ़ाई करवायी जाती है लेकिन मेडिकल कॉलेज आपको यूँ ही नहीं (NEET Exam Kya Hota Hai) दिखेंगे। ऐसे में यदि किसी शहर में मेडिकल कॉलेज है तो यह उस शहर के लिए गर्व की बात होती है क्योंकि मेडिकल कॉलेज को लाइसेंस बहुत ही मुश्किल से मिलता है। अब देशभर में जो भी मेडिकल कॉलेज है फिर चाहे वह सरकारी हो या निजी, इनमें आपको सीधे प्रवेश चाहिए तो उसके लिए नीट की परीक्षा को पास करना जरुरी होता है।

वैसे तो देशभर में कई तरह के मेडिकल कॉलेज हैं लेकिन यदि आपको टॉप के सरकारी और प्राइवेट मेडिकल कॉलेज में प्रवेश चाहिए और वो भी बिना डोनेशन के तो आपको नीट एग्जाम देना (NEET exam kya hai) होगा और उसमें पास होना होगा। एक तरह से कहा जाए तो नीट एग्जाम और कुछ नहीं बल्कि इन सभी मेडिकल कॉलेज में प्रवेश देने के लिए राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित होने वाली एक परीक्षा है।

इस परीक्षा को राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी के द्वारा आयोजित करवाया जाता है। इसे हम शोर्ट फॉर्म में NTA भी कह सकते हैं जो भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय के अधीन रहकर कार्य करती है। नीट के एग्जाम की घोषणा तो वर्ष 2012 में कर दी गयी थी लेकिन इसकी आधिकारिक शुरुआत वर्ष 2013 से हुई थी। इस परीक्षा में बैठने के लिए छात्रों को कुछ नियम व शर्तों का पालन करना होता है जिनमें प्रमुख अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई मेडिकल विषय में 50 प्रतिशत अंकों के साथ उत्तीर्ण होना है।

यह ऑनलाइन परीक्षा ना होकर ऑफलाइन मोड में आयोजित की जाती (NEET exam kis liye hota h) है जिसे पेन व पेपर पर देना होता है। वर्ष 2016 से इसे लगातार हर वर्ष लिया जा रहा है ताकि मेडिकल कॉलेज में छात्रों को प्रथम वर्ष में प्रवेश दिया जा सके। इसके जरिये छात्रों को MBBS, BDS व AYUSH के तहत आने वाले विभिन्न कोर्स में पढ़ने का अवसर दिया जाता है। आइये इसके बारे में एक एक करके पूरी जानकारी ले लेते हैं।

नीट की फुल फॉर्म क्या है?

सबसे पहले तो हम नीट एग्जाम की फुल फॉर्म की बात कर लेते (NEET Full Form in Hindi) हैं क्योंकि बहुत से लोग इसे देना तो चाहते हैं लेकिन उन्हें इसकी फुल फॉर्म ही नहीं पता होती है। तो नीट अंग्रेजी भाषा का शब्द है जिसकी फुल फॉर्म नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (National Eligibility cum Entrance Test) होती है। हालाँकि इसका पूरा नाम नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (अंडरग्रेजुएट) / National Eligibility cum Entrance Test (Undergraduate / UG) होता है।

वहीं यदि हम नीट के हिंदी नाम की बात करें तो इसे हिंदी में राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा कहा जाता है। वहीं यदि हमे अंडरग्रेजुएट शब्द भी जोड़ना है तो उसे हम यूँ का यूँ या फिर यूजी करके जोड़ सकते हैं। इसे राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी जिसे अंग्रेजी में नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (National Testing Agency / NTA) भी कहते हैं, के द्वारा भारतीय शिक्षा मंत्रालय के अंतर्गत स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय तथा राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग के साथ मिलकर आयोजित करवाया जाता है।

नीट परीक्षा का इतिहास

अब यदि आपको नीट एग्जाम देना है या इसके बारे में जानना है तो उसके लिए आपको इसके इतिहास के बारे में भी जानकारी होनी (NEET exam history in Hindi) चाहिए। तो आपने पहले कभी AIPMT परीक्षा का नाम तो सुना ही होगा और यदि नहीं सुना है तो आज हम आपको इसके बारे में बता देते हैं। दरअसल नीट परीक्षा तो एक तरह से वर्ष 2013 में शुरू हुई थी जिसे राष्ट्रीय स्तर पर लिया गया था लेकिन उससे पहले हर राज्य के द्वारा अपनी अलग-अलग AIPMT के एग्जाम लिए जाते थे तो वहीं कई बड़े मेडिकल कॉलेज अपने खुद के एग्जाम अलग से करवाते थे।

फिर वर्ष 2013 में मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया ने नीट का एग्जाम लिया लेकिन इसके बाद के लिए सर्वोच्च न्यायालय ने इस पर रोक लगा दी। इस कारण यह वर्ष 2014 व 2015 में नहीं लिया गया लेकिन फिर वर्ष 2016 से इसे फिर से लागू कर दिया गया। उसके बाद से भारत के लगभग हर प्रमुख मेडिकल कॉलेज फिर चाहे वह सरकारी हो या प्राइवेट, उसके लिए नीट के एग्जाम को मान्यता दे दी गयी और AIPMT को पूरी तरह से बंद कर दिया गया।

नीट एग्जाम किसलिये होता है?

अब आपका अगला प्रश्न (NEET exam kis liye hota h) होगा कि आखिरकार नीट एग्जाम लेने की क्या जरुरत थी या नीट एग्जाम किसलिये होता है। तो इसका उत्तर यह है कि नीट का एग्जाम देकर ही हमें हमारे भविष्य के डॉक्टर मिलते हैं फिर चाहे वह एलोपैथी के हो या आयुर्वेदिक या डेंटिस्ट या अन्य कोई डॉक्टर। डॉक्टर के हाथ में ही हमारे जीवन की बागडौर होती है और यदि उनका चयन ही सही से नहीं हो पाया तो देश का भविष्य अधर में लटक सकता है।

इसी को ध्यान में रखते हुए राज्यों के बीच हो रहे असंतुलन को देखते हुए भारत सरकार व मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया ने यह निर्णय लिया और नीट का कांसेप्ट आया। इसके तहत भारत देश में मेडिकल की तैयारी कर रहा और डॉक्टर बनने का इच्छुक हर छात्र नीट की परीक्षा में बैठ सकता है और उसे अच्छे अंकों के साथ पास कर एक अच्छे मेडिकल कॉलेज में प्रवेश पा सकता है।

नीट एग्जाम कैसे होता है?

अब बात करते हैं नीट एग्जाम को देने के बारे (NEET exam kaise hota hai) में। तो बहुत से छात्र इस बात को लेकर शंका में रहते हैं कि नीट एग्जाम का पैटर्न कैसा होता है या फिर इसे किस तरह से दिया जाता है। ऐसे में यहाँ हम आपको पहले ही बता दें कि राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी के द्वारा इसमें परिवर्तन किया जा सकता है लेकिन फिर भी अभी जो पैटर्न है, वह हम आपको बता देते हैं।

नीट की परीक्षा में कुल चार विषयों से 200 प्रश्न पूछे जाते हैं जिसमें एक पैटर्न के अनुसार आपको 180 प्रश्नों का उत्तर देना होता है। अब इसमें प्रत्येक प्रश्न का उत्तर देने पर 4 अंक मिलते हैं और गलत उत्तर देने पर 1 अंक काट लिया जाता (NEET exam kya hota hai) है। नीट की परीक्षा में अधिकतम अंक 720 होते हैं जबकि न्यूनतम अंक -180 होते हैं। आइये जाने एक एक करके इन सभी के बारे में।

  • नीट एग्जाम के सब्जेक्ट

सबसे पहले हम नीट एग्जाम में आने वाले सब्जेक्ट के बारे में बात कर लेते हैं। नीट की परीक्षा में आपसे 4 विषयों पर प्रश्न पूछे (NEET exam subjects list) जाएंगे जिनके बारे में आपने अपनी 11वीं और 12वीं की कक्षा में पढ़ा होगा। तो यह चार विषय फिजिक्स, केमिस्ट्री, बॉटनी व जूलॉजी होते हैं। इसमें से बॉटनी व जूलॉजी को हम बायोलॉजी का ही पार्ट मानते हैं जिन्हें दो हिस्सों में तोड़कर पढ़ाया जाता है। 

  • नीट एग्जाम का पैटर्न

नीट के एग्जाम में कुल 200 प्रश्न आते हैं जिनमें से आपको केवल 180 प्रश्न के ही उत्तर देने होते (NEET exam ka pattern) हैं लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि आप किसी भी 180 प्रश्न के उत्तर दे देंगे। यह पैटर्न वर्ष 2021 से अप्लाई किया गया है जिसके अनुसार प्रत्येक सब्जेक्ट से 50 प्रश्न पूछे जाते हैं। इन 50 प्रश्नों को दो सेक्शन A और B में बांटा गया होता है। A सेक्शन में 35 प्रश्न आते हैं जिनका उत्तर देना अनिवार्य है तो वहीं B सेक्शन में 15 प्रश्न आते हैं जिनमें से किन्हीं 10 के उत्तर देने होते (NEET exam kaise hota hai) हैं।

  • नीट एग्जाम देने का समय

अब बात करते हैं नीट एग्जाम देने के समय के बारे में अर्थात आपको नीट की परीक्षा देने के लिए कुल कितना समय मिलता (NEET exam time duration) है। तो इसके लिए आपको कुल 3 घंटे 20 मिनट अर्थात 200 मिनट का समय मिलता है। नीट की परीक्षा दोपहर में 2 बजे शुरू होती है और 5 बजकर 20 मिनट पर समाप्त होती है। हालाँकि आपको परीक्षा शुरू होने से कम से कम एक घंटा पहले एग्जाम सेंटर पर पहुँच जाना होता है ताकि बाकि फॉर्मेलिटी पूरी की जा सके।

  • नीट एग्जाम के नंबर

नीट की परीक्षा में कुल 180 प्रश्न के उत्तर देने होते हैं और हरेक सही उत्तर के 4 अंक दिए जाते हैं। वहीं यदि आप किसी प्रश्न का गलत उत्तर देते है तो आपका एक अंक माइनस में चला जाता (NEET exam marks criteria) है। वहीं आप किसी प्रश्न का उत्तर नहीं देते है तो उसके कोई भी अंक माइनस या प्लस में नही होते हैं। इस तरह से आपको नीट की परीक्षा में अधिकतम 720 अंक और न्यूनतम -180 अंक मिल सकते है।

नीट एग्जाम देने के पात्रता मानदंड

अब यदि आपको नीट की परीक्षा देनी है और उसके लिए पात्रता मानदंड या योग्यता के बारे में जानना है तो आज हम उसके बारे में भी बता देते (NEET exam eligibility in Hindi) हैं। दरअसल बहुत से लोगों को इसको लेकर सही जानकारी नहीं होती है जिस कारण उनका एक साल ख़राब हो जाता है। ऐसे में नीट परीक्षा देने के लिए जो जो योग्यताएं आपके अंदर होनी चाहिए, वह इस प्रकार हैं:

  • न्यूनतम आयु सीमा

अब यदि आपको नीट के एग्जाम में बैठना (NEET exam age limit) है तो उसके लिए आपकी आयु कम से कम 17 वर्ष होनी ही चाहिए। यदि आप 17 वर्ष की आयु से पहले ही बारहवीं पास कर लेते हैं तो भी आप नीट की परीक्षा नहीं दे सकते हैं। वहीं इसके लिए 17 वर्ष की आयु का पैमाना हर वर्ष 31 दिसंबर से आँका जाता है। उदाहरण के तौर पर यदि आप वर्ष 2024 के लिए नीट की परीक्षा में बैठ रहे हैं तो आपकी आयु 31 दिसंबर 2024 तक 17 वर्ष की हो जानी चाहिए।

  • अधिकतम आयु सीमा

अभी के लिए नीट की परीक्षा में बैठने के लिए अधिकतम आयु सीमा का कोई मानदंड नहीं है क्योंकि सर्वोच्च न्यायालय के पास यह मामला लंबित (NEET exam age requirement) है। ऐसे में जब तक इस पर वहां से आदेश नहीं आ जाता है तब तक 17 वर्ष से ऊपर की आयु का कोई भी व्यक्ति अन्य मानदंडों को पूरा करते हुए नीट की परीक्षा में बैठ सकता है।

  • शैक्षणिक योग्यता

बहुत से छात्र इस योग्यता से चूक जाते हैं क्योंकि इसके लिए NTA ने बहुत ही कड़े मानदंड बनाये हुए है। पहले मानदंड के अनुसार सभी छात्र जो नीट की परीक्षा देना चाहते (NEET exam education qualification) हैं उन्हें अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई मेडिकल में या फिर नॉन मेडिकल बायोलॉजी के साथ करनी होगी। दूसरे मानदंड के अनुसार छात्र के बारहवीं कक्षा में कम से कम 50 प्रतिशत अंक होने चाहिए। तीसरे मानदंड के अनुसार उसके फिजिक्स, केमिस्ट्री व बायोलॉजी में भी अलग-अलग न्यूनतम 50 प्रतिशत अंक होने चाहिए।

हालाँकि यह 50 प्रतिशत अंक लाने का नियम जनरल वर्ग के छात्रों के लिए है। SC, ST व OBC वर्ग के छात्रों को न्यूनतम 40 प्रतिशत अंक चाहिए होते हैं। वहीं PDW छात्रों को न्यूनतम 45 प्रतिशत अंक लाने होते हैं।

  • नागरिकता

नीट की परीक्षा में बैठने के लिए हर छात्र का भारतीय होना आवश्यक है। कोई भी छात्र जो विदेशी नागरिकता ले चुका है या विदेशी है तो उसे नीट की परीक्षा में नहीं बैठने दिया (NEET exam ke liye yogyata) जाएगा। इस तरह से यदि आप भारतीय नागरिक हैं तो ही आप नीट एग्जाम दे सकते हैं।

नीट एग्जाम कितनी बार दे सकते हैं?

अब जब आप यह जान चुके (NEET exam kitni baar de sakte hai) हैं कि नीट को देने के लिए न्यूनतम आयु सीमा 17 वर्ष है और अधिकतम आयु सीमा का मामला सर्वोच्च न्यायालय में लंबित चल रहा है तो ऐसे में नीट एग्जाम कितनी बार दिया जा सकता है, यह प्रश्न उठाना स्वाभाविक है। ऐसे में आज हम आपको बता दें कि वर्तमान नियमों के अनुसार नीट की परीक्षा देने के लिए कोई लिमिट नहीं है और यह आप 17 वर्ष की आयु होने के बाद बाकि के सभी मानदंडों को पूरा करते हुए कितनी भी बार दे सकते हैं।

हालाँकि इस पर जैसे ही अधिकतम आयु सीमा का निर्णय सर्वोच्च न्यायालय से (NEET Exam Kya Hota Hai) आएगा तो इसकी भी एक लिमिट निर्धारित हो जाएगी। इसी के साथ ही कभी भी यह निर्णय भी लिया जा सकता है कि एक छात्र अपनी न्यूनतम व अधिकतम आयु सीमा के बीच में कितनी बार नीट की परीक्षा में बैठ सकता है लेकिन अभी इसके बारे में चिंता करने की कोई जरुरत नहीं है।

नीट एग्जाम का सिलेबस

अब यदि आप नीट एग्जाम का सलेबस जानना चाहते हैं तो उसके लिए कोई अलग से सलेबस नहीं होता (NEET exam ka syllabus) है। वह इसलिए क्योंकि जो भी विषय और उसके अंतर्गत आने वाले सभी चैप्टर आपने अपनी 11 वीं और 12 वीं कक्षा में पढ़े हैं, उन्हें ही नीट की परीक्षा में आपसे पूछा जाता है। अब यह तो हमने आपको ऊपर ही बता दिया है कि नीट की परीक्षा में 4 विषय आते हैं जो फिजिक्स, केमिस्ट्री, बॉटनी व जूलॉजी होते हैं।

ऐसे में आपके यह चारों विषय दोनों कक्षाओं में आये होंगे और उन दो वर्षों में आपने इन चारों विषयों में कई तरह के चैप्टर को पढ़ा होगा। तो आपने इस दौरान जो भी चैप्टर पढ़े हैं, उनमे से किसी पर भी यह 200 प्रश्न पूछे जा सकते हैं। इसलिए यदि आपको नीट का एग्जाम जल्द से जल्द और अच्छे अंकों के साथ पास करना है तो उसके लिए आपको 11वीं और 12वीं की पढ़ाई को सीरियस होकर पढ़ना (NEET Exam Kya Hota Hai) होगा।

वहीं आपको केवल 11वीं और 12वीं की पढ़ाई ही नहीं पढ़नी है बल्कि उसके साथ साथ नीट की अलग से तैयारी भी करने लग जाना है। इसके लिए भारत के लाखों बच्चे भारत के विभिन्न शहरों में कोचिंग लेने जाते हैं। नीट की तैयारी करवाने में दो शहर प्रमुख हैं जिनके नाम सीकर व कोटा है। ऐसे में सीकर का मैट्रिक्स इंस्टीट्यूट (Matrix Academy) और कोटा की एलन अकैडमी नीट की तैयारी करवाने में पूरे देश में टॉप पर बने हुए हैं। ऐसे में आपको बिना देर किये अभी से ही नीट की तैयारी शुरू कर देनी चाहिए।

नीट एग्जाम की अन्य जानकारी

अब जाते जाते आपको नीट एग्जाम के बारे में जो जानकारी रह गयी (NEET exam information in Hindi) है, इसके बारे में भी जानकारी दे देते हैं ताकि आपके मन में नीट को लेकर किसी प्रकार की शंका ना रहे।

  • नीट का एग्जाम एक वर्ष में एक बार ही आयोजित करवाया जाता है। ऐसे में यदि आपका उस वर्ष सलेक्शन नहीं हुआ है तो आपको अगले वर्ष होने वाली नीट की परीक्षा की अभी से ही तैयारी शुरू कर देनी चाहिए।
  • नीट को अंग्रेजी के साथ-साथ भारत की 9 अन्य भाषाओँ में भी आयोजित करवाया जाता (NEET exam language) है जो है: हिंदी, आसामी, बंगाली, गुजराती, कन्नड़, मराठी, उड़िया, तमिल व तेलुगु।
  • जब नीट की परीक्षा की शुरुआत हुई थी अर्थात वर्ष 2013 में लगभग 6.5 लाख बच्चों ने इसकी परीक्षा दी थी। यदि हम हाल के ही वर्ष की बात करें तो वर्ष 2023 में 20 लाख से अधिक छात्र नीट के एग्जाम में बैठे थे।
  • नीट में जिन छात्रों का चयन हो जाता (NEET exam courses list) है उन्हें भारत में MBBS, BDS, BAMS, BUMS व BHMS इत्यादि मेडिकल कोर्स करने की अनुमति मिलती है।
  • इसके तहत भारत में हर वर्ष 1.7 लाख से ऊपर छात्रों का चयन किया जाता है जिन्हें देशभर के विभिन्न मेडिकल कॉलेज के विभिन्न कोर्स में प्रवेश मिलता है।

इस तरह से 20 लाख बच्चों में से नीट की परीक्षा में चयनित होने की संभावना जरुर ही 20 प्रतिशत के आसपास है लेकिन साथ ही इसमें रैंक भी बहुत मायने रखती (NEET Exam Kya Hota Hai) है। वह इसलिए क्योंकि यदि आप अच्छी रैंक लायेंगे तो आपका टॉप के मेडिकल कॉलेज में प्रवेश होगा वहीं कम रैंक लाने पर आपको कॉलेज भी लो लेवल वाले ही मिलेंगे। ऐसे में बिना देर किये आज से ही नीट एग्जाम की जमकर तैयारी करना शुरू कर दीजिये।

नीट एग्जाम क्या होता है – Related FAQs

प्रश्न: नीट का एग्जाम देने से क्या बनते हैं?

उत्तर: नीट का एग्जाम देने से आपका भारत के मेडिकल कॉलेज में एडमिशन होता है और आप एमबीबीएस, बीडीएस आदि कोर्स कर पाते हो।

प्रश्न: नीट में कितने सब्जेक्ट होते है?

उत्तर: नीट में 4 विषय होते हैं फिजिक्स, केमिस्ट्री, बॉटनी व जूलॉजी।

प्रश्न: नीट के लिए 12वीं में कितने मार्क्स चाहिए?

उत्तर: नीट के लिए 12वीं कक्षा में जनरल कैटेगरी वालों को न्यूनतम 50 प्रतिशत और SC, ST व OBC वर्ग के छात्रों को न्यूनतम 40 प्रतिशत तो वहीं PDW छात्रों को न्यूनतम 45 प्रतिशत अंक लाने होते हैं।

प्रश्न: नीट में कितने नंबर आने पर सरकारी कॉलेज मिलता है?

उत्तर: वैसे तो यह आंकड़ा कट ऑफ पर निर्धारित होता है लेकिन यदि आप जनरल वर्ग के छात्र हैं तो कम से कम आपके 620 अंक तो होने ही चाहिए।

प्रश्न: नीट का पेपर कौन सी भाषा में आता है?

उत्तर: नीट का पेपर अंग्रेजी के साथ-साथ भारत की 9 अन्य भाषाओँ में भी आयोजित करवाया जाता है जो है: हिंदी, आसामी, बंगाली, गुजराती, कन्नड़, मराठी, उड़िया, तमिल व तेलुगु।

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