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NEET Exam Kya Hota Hai | नीट एग्जाम क्या होता है? | SCAS

भारत देश में मेडिकल की पढ़ाई करनी है और उसके लिए अच्छे सरकारी या फिर प्राइवेट मेडिकल कॉलेज में एडमिशन चाहिए तो नीट की परीक्षा (NEET Exam Kya Hota Hai) देनी जरुरी हो जाती है। ऐसे में बहुत से लोगों के मन में यह प्रश्न उठता है कि यह नीट एग्जाम क्या होता है या फिर नीट एग्जाम क्या है। ऐसे में आज हम इस लेख के माध्यम से नीट की परीक्षा के बारे में ही बात करने वाले (NEET exam kya hai) हैं।

आज के इस लेख को पढ़ कर आपको नीट परीक्षा के बारे में सबकुछ पता चल जाएगा जैसे कि नीट एग्जाम किसलिये होता है, नीट एग्जाम कितनी बार दे सकते हैं (NEET exam kitni baar de sakte hai), नीट एग्जाम कैसे होता है, नीट एग्जाम कौन लेता है, उसका सिलेबस क्या है इत्यादि। इसे पढ़कर आपकी नीट के बारे में हरेक शंका का सरल समाधान हो जाएगा। तो आइये जाने नीट परीक्षा के बारे में।

नीट एग्जाम क्या होता है?

भारत देश में असंख्य कॉलेज व यूनिवर्सिटी है जिनमें इंजीनियरिंग से लेकर आर्किटेक्ट, मैनेजमेंट, डिज़ाइनर इत्यादि की पढ़ाई करवायी जाती है लेकिन मेडिकल कॉलेज आपको यूँ ही नहीं (NEET Exam Kya Hota Hai) दिखेंगे। ऐसे में यदि किसी शहर में मेडिकल कॉलेज है तो यह उस शहर के लिए गर्व की बात होती है क्योंकि मेडिकल कॉलेज को लाइसेंस बहुत ही मुश्किल से मिलता है। अब देशभर में जो भी मेडिकल कॉलेज है फिर चाहे वह सरकारी हो या निजी, इनमें आपको सीधे प्रवेश चाहिए तो उसके लिए नीट की परीक्षा को पास करना जरुरी होता है।

वैसे तो देशभर में कई तरह के मेडिकल कॉलेज हैं लेकिन यदि आपको टॉप के सरकारी और प्राइवेट मेडिकल कॉलेज में प्रवेश चाहिए और वो भी बिना डोनेशन के तो आपको नीट एग्जाम देना (NEET exam kya hai) होगा और उसमें पास होना होगा। एक तरह से कहा जाए तो नीट एग्जाम और कुछ नहीं बल्कि इन सभी मेडिकल कॉलेज में प्रवेश देने के लिए राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित होने वाली एक परीक्षा है।

इस परीक्षा को राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी के द्वारा आयोजित करवाया जाता है। इसे हम शोर्ट फॉर्म में NTA भी कह सकते हैं जो भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय के अधीन रहकर कार्य करती है। नीट के एग्जाम की घोषणा तो वर्ष 2012 में कर दी गयी थी लेकिन इसकी आधिकारिक शुरुआत वर्ष 2013 से हुई थी। इस परीक्षा में बैठने के लिए छात्रों को कुछ नियम व शर्तों का पालन करना होता है जिनमें प्रमुख अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई मेडिकल विषय में 50 प्रतिशत अंकों के साथ उत्तीर्ण होना है।

यह ऑनलाइन परीक्षा ना होकर ऑफलाइन मोड में आयोजित की जाती (NEET exam kis liye hota h) है जिसे पेन व पेपर पर देना होता है। वर्ष 2016 से इसे लगातार हर वर्ष लिया जा रहा है ताकि मेडिकल कॉलेज में छात्रों को प्रथम वर्ष में प्रवेश दिया जा सके। इसके जरिये छात्रों को MBBS, BDS व AYUSH के तहत आने वाले विभिन्न कोर्स में पढ़ने का अवसर दिया जाता है। आइये इसके बारे में एक एक करके पूरी जानकारी ले लेते हैं।

नीट की फुल फॉर्म क्या है?

सबसे पहले तो हम नीट एग्जाम की फुल फॉर्म की बात कर लेते (NEET Full Form in Hindi) हैं क्योंकि बहुत से लोग इसे देना तो चाहते हैं लेकिन उन्हें इसकी फुल फॉर्म ही नहीं पता होती है। तो नीट अंग्रेजी भाषा का शब्द है जिसकी फुल फॉर्म नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (National Eligibility cum Entrance Test) होती है। हालाँकि इसका पूरा नाम नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (अंडरग्रेजुएट) / National Eligibility cum Entrance Test (Undergraduate / UG) होता है।

वहीं यदि हम नीट के हिंदी नाम की बात करें तो इसे हिंदी में राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा कहा जाता है। वहीं यदि हमे अंडरग्रेजुएट शब्द भी जोड़ना है तो उसे हम यूँ का यूँ या फिर यूजी करके जोड़ सकते हैं। इसे राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी जिसे अंग्रेजी में नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (National Testing Agency / NTA) भी कहते हैं, के द्वारा भारतीय शिक्षा मंत्रालय के अंतर्गत स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय तथा राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग के साथ मिलकर आयोजित करवाया जाता है।

नीट परीक्षा का इतिहास

अब यदि आपको नीट एग्जाम देना है या इसके बारे में जानना है तो उसके लिए आपको इसके इतिहास के बारे में भी जानकारी होनी (NEET exam history in Hindi) चाहिए। तो आपने पहले कभी AIPMT परीक्षा का नाम तो सुना ही होगा और यदि नहीं सुना है तो आज हम आपको इसके बारे में बता देते हैं। दरअसल नीट परीक्षा तो एक तरह से वर्ष 2013 में शुरू हुई थी जिसे राष्ट्रीय स्तर पर लिया गया था लेकिन उससे पहले हर राज्य के द्वारा अपनी अलग-अलग AIPMT के एग्जाम लिए जाते थे तो वहीं कई बड़े मेडिकल कॉलेज अपने खुद के एग्जाम अलग से करवाते थे।

फिर वर्ष 2013 में मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया ने नीट का एग्जाम लिया लेकिन इसके बाद के लिए सर्वोच्च न्यायालय ने इस पर रोक लगा दी। इस कारण यह वर्ष 2014 व 2015 में नहीं लिया गया लेकिन फिर वर्ष 2016 से इसे फिर से लागू कर दिया गया। उसके बाद से भारत के लगभग हर प्रमुख मेडिकल कॉलेज फिर चाहे वह सरकारी हो या प्राइवेट, उसके लिए नीट के एग्जाम को मान्यता दे दी गयी और AIPMT को पूरी तरह से बंद कर दिया गया।

नीट एग्जाम किसलिये होता है?

अब आपका अगला प्रश्न (NEET exam kis liye hota h) होगा कि आखिरकार नीट एग्जाम लेने की क्या जरुरत थी या नीट एग्जाम किसलिये होता है। तो इसका उत्तर यह है कि नीट का एग्जाम देकर ही हमें हमारे भविष्य के डॉक्टर मिलते हैं फिर चाहे वह एलोपैथी के हो या आयुर्वेदिक या डेंटिस्ट या अन्य कोई डॉक्टर। डॉक्टर के हाथ में ही हमारे जीवन की बागडौर होती है और यदि उनका चयन ही सही से नहीं हो पाया तो देश का भविष्य अधर में लटक सकता है।

इसी को ध्यान में रखते हुए राज्यों के बीच हो रहे असंतुलन को देखते हुए भारत सरकार व मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया ने यह निर्णय लिया और नीट का कांसेप्ट आया। इसके तहत भारत देश में मेडिकल की तैयारी कर रहा और डॉक्टर बनने का इच्छुक हर छात्र नीट की परीक्षा में बैठ सकता है और उसे अच्छे अंकों के साथ पास कर एक अच्छे मेडिकल कॉलेज में प्रवेश पा सकता है।

नीट एग्जाम कैसे होता है?

अब बात करते हैं नीट एग्जाम को देने के बारे (NEET exam kaise hota hai) में। तो बहुत से छात्र इस बात को लेकर शंका में रहते हैं कि नीट एग्जाम का पैटर्न कैसा होता है या फिर इसे किस तरह से दिया जाता है। ऐसे में यहाँ हम आपको पहले ही बता दें कि राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी के द्वारा इसमें परिवर्तन किया जा सकता है लेकिन फिर भी अभी जो पैटर्न है, वह हम आपको बता देते हैं।

नीट की परीक्षा में कुल चार विषयों से 200 प्रश्न पूछे जाते हैं जिसमें एक पैटर्न के अनुसार आपको 180 प्रश्नों का उत्तर देना होता है। अब इसमें प्रत्येक प्रश्न का उत्तर देने पर 4 अंक मिलते हैं और गलत उत्तर देने पर 1 अंक काट लिया जाता (NEET exam kya hota hai) है। नीट की परीक्षा में अधिकतम अंक 720 होते हैं जबकि न्यूनतम अंक -180 होते हैं। आइये जाने एक एक करके इन सभी के बारे में।

  • नीट एग्जाम के सब्जेक्ट

सबसे पहले हम नीट एग्जाम में आने वाले सब्जेक्ट के बारे में बात कर लेते हैं। नीट की परीक्षा में आपसे 4 विषयों पर प्रश्न पूछे (NEET exam subjects list) जाएंगे जिनके बारे में आपने अपनी 11वीं और 12वीं की कक्षा में पढ़ा होगा। तो यह चार विषय फिजिक्स, केमिस्ट्री, बॉटनी व जूलॉजी होते हैं। इसमें से बॉटनी व जूलॉजी को हम बायोलॉजी का ही पार्ट मानते हैं जिन्हें दो हिस्सों में तोड़कर पढ़ाया जाता है। 

  • नीट एग्जाम का पैटर्न

नीट के एग्जाम में कुल 200 प्रश्न आते हैं जिनमें से आपको केवल 180 प्रश्न के ही उत्तर देने होते (NEET exam ka pattern) हैं लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि आप किसी भी 180 प्रश्न के उत्तर दे देंगे। यह पैटर्न वर्ष 2021 से अप्लाई किया गया है जिसके अनुसार प्रत्येक सब्जेक्ट से 50 प्रश्न पूछे जाते हैं। इन 50 प्रश्नों को दो सेक्शन A और B में बांटा गया होता है। A सेक्शन में 35 प्रश्न आते हैं जिनका उत्तर देना अनिवार्य है तो वहीं B सेक्शन में 15 प्रश्न आते हैं जिनमें से किन्हीं 10 के उत्तर देने होते (NEET exam kaise hota hai) हैं।

  • नीट एग्जाम देने का समय

अब बात करते हैं नीट एग्जाम देने के समय के बारे में अर्थात आपको नीट की परीक्षा देने के लिए कुल कितना समय मिलता (NEET exam time duration) है। तो इसके लिए आपको कुल 3 घंटे 20 मिनट अर्थात 200 मिनट का समय मिलता है। नीट की परीक्षा दोपहर में 2 बजे शुरू होती है और 5 बजकर 20 मिनट पर समाप्त होती है। हालाँकि आपको परीक्षा शुरू होने से कम से कम एक घंटा पहले एग्जाम सेंटर पर पहुँच जाना होता है ताकि बाकि फॉर्मेलिटी पूरी की जा सके।

  • नीट एग्जाम के नंबर

नीट की परीक्षा में कुल 180 प्रश्न के उत्तर देने होते हैं और हरेक सही उत्तर के 4 अंक दिए जाते हैं। वहीं यदि आप किसी प्रश्न का गलत उत्तर देते है तो आपका एक अंक माइनस में चला जाता (NEET exam marks criteria) है। वहीं आप किसी प्रश्न का उत्तर नहीं देते है तो उसके कोई भी अंक माइनस या प्लस में नही होते हैं। इस तरह से आपको नीट की परीक्षा में अधिकतम 720 अंक और न्यूनतम -180 अंक मिल सकते है।

नीट एग्जाम देने के पात्रता मानदंड

अब यदि आपको नीट की परीक्षा देनी है और उसके लिए पात्रता मानदंड या योग्यता के बारे में जानना है तो आज हम उसके बारे में भी बता देते (NEET exam eligibility in Hindi) हैं। दरअसल बहुत से लोगों को इसको लेकर सही जानकारी नहीं होती है जिस कारण उनका एक साल ख़राब हो जाता है। ऐसे में नीट परीक्षा देने के लिए जो जो योग्यताएं आपके अंदर होनी चाहिए, वह इस प्रकार हैं:

  • न्यूनतम आयु सीमा

अब यदि आपको नीट के एग्जाम में बैठना (NEET exam age limit) है तो उसके लिए आपकी आयु कम से कम 17 वर्ष होनी ही चाहिए। यदि आप 17 वर्ष की आयु से पहले ही बारहवीं पास कर लेते हैं तो भी आप नीट की परीक्षा नहीं दे सकते हैं। वहीं इसके लिए 17 वर्ष की आयु का पैमाना हर वर्ष 31 दिसंबर से आँका जाता है। उदाहरण के तौर पर यदि आप वर्ष 2024 के लिए नीट की परीक्षा में बैठ रहे हैं तो आपकी आयु 31 दिसंबर 2024 तक 17 वर्ष की हो जानी चाहिए।

  • अधिकतम आयु सीमा

अभी के लिए नीट की परीक्षा में बैठने के लिए अधिकतम आयु सीमा का कोई मानदंड नहीं है क्योंकि सर्वोच्च न्यायालय के पास यह मामला लंबित (NEET exam age requirement) है। ऐसे में जब तक इस पर वहां से आदेश नहीं आ जाता है तब तक 17 वर्ष से ऊपर की आयु का कोई भी व्यक्ति अन्य मानदंडों को पूरा करते हुए नीट की परीक्षा में बैठ सकता है।

  • शैक्षणिक योग्यता

बहुत से छात्र इस योग्यता से चूक जाते हैं क्योंकि इसके लिए NTA ने बहुत ही कड़े मानदंड बनाये हुए है। पहले मानदंड के अनुसार सभी छात्र जो नीट की परीक्षा देना चाहते (NEET exam education qualification) हैं उन्हें अपनी 11वीं और 12वीं कक्षा की पढ़ाई मेडिकल में या फिर नॉन मेडिकल बायोलॉजी के साथ करनी होगी। दूसरे मानदंड के अनुसार छात्र के बारहवीं कक्षा में कम से कम 50 प्रतिशत अंक होने चाहिए। तीसरे मानदंड के अनुसार उसके फिजिक्स, केमिस्ट्री व बायोलॉजी में भी अलग-अलग न्यूनतम 50 प्रतिशत अंक होने चाहिए।

हालाँकि यह 50 प्रतिशत अंक लाने का नियम जनरल वर्ग के छात्रों के लिए है। SC, ST व OBC वर्ग के छात्रों को न्यूनतम 40 प्रतिशत अंक चाहिए होते हैं। वहीं PDW छात्रों को न्यूनतम 45 प्रतिशत अंक लाने होते हैं।

  • नागरिकता

नीट की परीक्षा में बैठने के लिए हर छात्र का भारतीय होना आवश्यक है। कोई भी छात्र जो विदेशी नागरिकता ले चुका है या विदेशी है तो उसे नीट की परीक्षा में नहीं बैठने दिया (NEET exam ke liye yogyata) जाएगा। इस तरह से यदि आप भारतीय नागरिक हैं तो ही आप नीट एग्जाम दे सकते हैं।

नीट एग्जाम कितनी बार दे सकते हैं?

अब जब आप यह जान चुके (NEET exam kitni baar de sakte hai) हैं कि नीट को देने के लिए न्यूनतम आयु सीमा 17 वर्ष है और अधिकतम आयु सीमा का मामला सर्वोच्च न्यायालय में लंबित चल रहा है तो ऐसे में नीट एग्जाम कितनी बार दिया जा सकता है, यह प्रश्न उठाना स्वाभाविक है। ऐसे में आज हम आपको बता दें कि वर्तमान नियमों के अनुसार नीट की परीक्षा देने के लिए कोई लिमिट नहीं है और यह आप 17 वर्ष की आयु होने के बाद बाकि के सभी मानदंडों को पूरा करते हुए कितनी भी बार दे सकते हैं।

हालाँकि इस पर जैसे ही अधिकतम आयु सीमा का निर्णय सर्वोच्च न्यायालय से (NEET Exam Kya Hota Hai) आएगा तो इसकी भी एक लिमिट निर्धारित हो जाएगी। इसी के साथ ही कभी भी यह निर्णय भी लिया जा सकता है कि एक छात्र अपनी न्यूनतम व अधिकतम आयु सीमा के बीच में कितनी बार नीट की परीक्षा में बैठ सकता है लेकिन अभी इसके बारे में चिंता करने की कोई जरुरत नहीं है।

नीट एग्जाम का सिलेबस

अब यदि आप नीट एग्जाम का सलेबस जानना चाहते हैं तो उसके लिए कोई अलग से सलेबस नहीं होता (NEET exam ka syllabus) है। वह इसलिए क्योंकि जो भी विषय और उसके अंतर्गत आने वाले सभी चैप्टर आपने अपनी 11 वीं और 12 वीं कक्षा में पढ़े हैं, उन्हें ही नीट की परीक्षा में आपसे पूछा जाता है। अब यह तो हमने आपको ऊपर ही बता दिया है कि नीट की परीक्षा में 4 विषय आते हैं जो फिजिक्स, केमिस्ट्री, बॉटनी व जूलॉजी होते हैं।

ऐसे में आपके यह चारों विषय दोनों कक्षाओं में आये होंगे और उन दो वर्षों में आपने इन चारों विषयों में कई तरह के चैप्टर को पढ़ा होगा। तो आपने इस दौरान जो भी चैप्टर पढ़े हैं, उनमे से किसी पर भी यह 200 प्रश्न पूछे जा सकते हैं। इसलिए यदि आपको नीट का एग्जाम जल्द से जल्द और अच्छे अंकों के साथ पास करना है तो उसके लिए आपको 11वीं और 12वीं की पढ़ाई को सीरियस होकर पढ़ना (NEET Exam Kya Hota Hai) होगा।

वहीं आपको केवल 11वीं और 12वीं की पढ़ाई ही नहीं पढ़नी है बल्कि उसके साथ साथ नीट की अलग से तैयारी भी करने लग जाना है। इसके लिए भारत के लाखों बच्चे भारत के विभिन्न शहरों में कोचिंग लेने जाते हैं। नीट की तैयारी करवाने में दो शहर प्रमुख हैं जिनके नाम सीकर व कोटा है। ऐसे में सीकर का मैट्रिक्स इंस्टीट्यूट (Matrix Academy) और कोटा की एलन अकैडमी नीट की तैयारी करवाने में पूरे देश में टॉप पर बने हुए हैं। ऐसे में आपको बिना देर किये अभी से ही नीट की तैयारी शुरू कर देनी चाहिए।

नीट एग्जाम की अन्य जानकारी

अब जाते जाते आपको नीट एग्जाम के बारे में जो जानकारी रह गयी (NEET exam information in Hindi) है, इसके बारे में भी जानकारी दे देते हैं ताकि आपके मन में नीट को लेकर किसी प्रकार की शंका ना रहे।

  • नीट का एग्जाम एक वर्ष में एक बार ही आयोजित करवाया जाता है। ऐसे में यदि आपका उस वर्ष सलेक्शन नहीं हुआ है तो आपको अगले वर्ष होने वाली नीट की परीक्षा की अभी से ही तैयारी शुरू कर देनी चाहिए।
  • नीट को अंग्रेजी के साथ-साथ भारत की 9 अन्य भाषाओँ में भी आयोजित करवाया जाता (NEET exam language) है जो है: हिंदी, आसामी, बंगाली, गुजराती, कन्नड़, मराठी, उड़िया, तमिल व तेलुगु।
  • जब नीट की परीक्षा की शुरुआत हुई थी अर्थात वर्ष 2013 में लगभग 6.5 लाख बच्चों ने इसकी परीक्षा दी थी। यदि हम हाल के ही वर्ष की बात करें तो वर्ष 2023 में 20 लाख से अधिक छात्र नीट के एग्जाम में बैठे थे।
  • नीट में जिन छात्रों का चयन हो जाता (NEET exam courses list) है उन्हें भारत में MBBS, BDS, BAMS, BUMS व BHMS इत्यादि मेडिकल कोर्स करने की अनुमति मिलती है।
  • इसके तहत भारत में हर वर्ष 1.7 लाख से ऊपर छात्रों का चयन किया जाता है जिन्हें देशभर के विभिन्न मेडिकल कॉलेज के विभिन्न कोर्स में प्रवेश मिलता है।

इस तरह से 20 लाख बच्चों में से नीट की परीक्षा में चयनित होने की संभावना जरुर ही 20 प्रतिशत के आसपास है लेकिन साथ ही इसमें रैंक भी बहुत मायने रखती (NEET Exam Kya Hota Hai) है। वह इसलिए क्योंकि यदि आप अच्छी रैंक लायेंगे तो आपका टॉप के मेडिकल कॉलेज में प्रवेश होगा वहीं कम रैंक लाने पर आपको कॉलेज भी लो लेवल वाले ही मिलेंगे। ऐसे में बिना देर किये आज से ही नीट एग्जाम की जमकर तैयारी करना शुरू कर दीजिये।

नीट एग्जाम क्या होता है – Related FAQs

प्रश्न: नीट का एग्जाम देने से क्या बनते हैं?

उत्तर: नीट का एग्जाम देने से आपका भारत के मेडिकल कॉलेज में एडमिशन होता है और आप एमबीबीएस, बीडीएस आदि कोर्स कर पाते हो।

प्रश्न: नीट में कितने सब्जेक्ट होते है?

उत्तर: नीट में 4 विषय होते हैं फिजिक्स, केमिस्ट्री, बॉटनी व जूलॉजी।

प्रश्न: नीट के लिए 12वीं में कितने मार्क्स चाहिए?

उत्तर: नीट के लिए 12वीं कक्षा में जनरल कैटेगरी वालों को न्यूनतम 50 प्रतिशत और SC, ST व OBC वर्ग के छात्रों को न्यूनतम 40 प्रतिशत तो वहीं PDW छात्रों को न्यूनतम 45 प्रतिशत अंक लाने होते हैं।

प्रश्न: नीट में कितने नंबर आने पर सरकारी कॉलेज मिलता है?

उत्तर: वैसे तो यह आंकड़ा कट ऑफ पर निर्धारित होता है लेकिन यदि आप जनरल वर्ग के छात्र हैं तो कम से कम आपके 620 अंक तो होने ही चाहिए।

प्रश्न: नीट का पेपर कौन सी भाषा में आता है?

उत्तर: नीट का पेपर अंग्रेजी के साथ-साथ भारत की 9 अन्य भाषाओँ में भी आयोजित करवाया जाता है जो है: हिंदी, आसामी, बंगाली, गुजराती, कन्नड़, मराठी, उड़िया, तमिल व तेलुगु।

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